CDS Bipin Rawat का निधन हो गया है। सेना का MI-17 V5 हेलिकॉप्टर तमिलनाडु में कुन्नूर के पास क्रैश हो गया था। इसमें सवार 14 में से 13 लोगों की मौत हो गई है। सेना के MI-17 V5 हेलिकॉप्टर में जनरल बिपिन रावत अपने परिवार के साथ सवार थें। इस हेलिकॉटर में जनरल बिपिन रावत और उनके परिवार के साथ सेना के तीन अफसर समेत कुल 14 लोग सवार थें। अब तक की खबरों के अनुसार दुर्घटना में शामिल 14 में से 13 लोगों की मौत हो गयी है।
जनरल बिपिन रावत का एमआई हेलिकॉप्टर सुलूर एयरबेस से उड़ान भरी थी। जहां यह दुर्घटना हुई है वहां काफी धुंध थी। इस हेलिकॉप्टर में सेना के 3 सीनियर अफसर के साथ कुल 14 लोग सवार थें। हेलिकॉप्टर में सीडीएस जनरल बिपिन रावत के साथ उनका परिवार भी सवार था। इस बीच वायु सेना ने हादसे की जांच का आदेश दे दिया है।
जानकारी के अनुसार बिपिन रावत को अस्पताल लेकर जाया गया है। ये सभी लोग वेलिंगटन डिफेंस सर्विसेज कॉलेज जा रहे थें। बताया जा रहा है कि जहां यह दुर्घटना हुई है वहां काफी धुंध थी।
हादसे की सूचना मिलने के बाद रक्षामंत्री राजनाथ सिंह जनरल बिपिन रावत के परिजनों से मिलने गए थें। मिल रही सूचना के अनुसार रक्षा मंत्री 9 दिसंबर को संसद में इस पर बयान देंगे।
MI-17 V5 हेलिकॉप्टर में ये लोग सवार थे
- बिपिन रावत
- मधुलिका रावत
- ब्रिगेडियर एलएस लिद्दर
- ले. क. हरजिंदर सिंह
- नायक गुरसेवक सिंह
- नायक. जितेंद्र कुमार
- लांस नायक बी. साई तेजा
- हवलदार सतपाल
- लांस नायक विवेक कुमार
घटना स्थल से कुछ तस्वीरें सामने आयी है। जिसे देखकर नुकसान का अनुमान लगाया जा सकता है।
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ट्वीट कर उम्मीद जताया था कि सीडीएस रावत और उनकी पत्नी इस दुर्घटना में सुरक्षित होंगे।
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन दुर्घटना स्थल पर पहुंच रहे हैं, जहां सैन्य हेलिकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हुआ है। उन्होंने स्थानीय प्रशासन को बचाव अभियान में हर संभव मदद मुहैया कराने का निर्देश दिया है।
1979 में भारतीय सेना से जुड़ें थें जनरल बिपिन रावत
जनरल बिपिन रावत का जन्म 16 मार्च 1958 को उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल में हुआ था। बिपिन रावत के पिता भी सेना में अपनी सेवाएं दे चुके हैं। इनके पिता लक्ष्मण सिंह रावत सेना से लेफ्टिनेंट जनरल के पद से सेवानिवृत्त हुए। रावत ने शुरूआती पढ़ाई देहरादून के कैबरीन हॉल स्कूल से की। उसके बाद उन्होंने शिमला के सेंट एडवर्ड स्कूल से पढ़ाई की और आगे चलकर देहरादून के भारतीय सैन्य अकादमी से सैन्य अधिकारी की ट्रेनिंग ली। जहां उन्हें ‘सोर्ड ऑफ़ ऑनर’ दिया गया था। बिपिन रावत ने सेना में अपने करियर की शुरुआत 1979 में 11वीं गोरखा राइफल की पांचवीं बटालियन के साथ मिजोरम में शुरू की थी।
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