महाराष्ट्र में सामान्य वर्ग के गरीबों को 10 प्रतिशत आरक्षण पर देवेंद्र फडणवीस कैबिनेट ने अपनी मुहर लगा दी। केंद्र सरकार की तरफ से 10 प्रतिशत जनरल कैटिगरी आरक्षण पर पहले ही अधिसूचना जारी हो चुकी है।  बता दें कि हाल ही में मोदी सरकार ने कुछ शर्तों के साथ जनरल कोटा को मंजूरी दी थी। संसद से बिल पास होने के बाद राष्ट्रपति ने इस पर दस्तखत करते हुए मुहर लगा दी थी।

महाराष्ट्र में देवेंद्र फडणवीस कैबिनेट की एक बैठक में सामान्य वर्ग को 10 फीसदी आरक्षण के प्रावधान का रास्ता साफ करते हुए सर्वसम्मति से स्वीकार कर लिया गया। इसके तहत अब राज्य के शैक्षणिक संस्थानों और सरकारी नौकरियों में जनरल कैटिगरी के दावेदारों को आरक्षण मिलेगा।

आपको बता दें कि इस आरक्षण का लाभ सामान्य वर्ग के उन्हीं लोगों को मुहैया कराया जाएगा, जिनकी सालाना आय 8 लाख रुपये से कम हो। केंद्र सरकार की ओर से नौकरियों में 1 फरवरी से जनरल कैटिगरी के गरीबों को आरक्षण लागू किया गया है।

हाल ही में केंद्रीय विधि और न्याय मंत्रालय ने जनरल कोटा के संबंध में अधिसूचना जारी की थी। इस अधिसूचना में कहा गया है कि संविधान के अनुच्छेद 15 और 16 में संशोधन (103वां संशोधन) के जरिए एक प्रावधान जोड़ा गया है। यह सरकार को आर्थिक रूप से कमजोर किसी तबके के नागरिक की तरक्की के लिए विशेष प्रावधान करने की इजाजत देता है। 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले मोदी सरकार के इस कदम को मास्टरस्ट्रोक के रूप में देखा जा रहा है।

वहीं आरक्षण के इस प्रावधान को मद्रास हाई कोर्ट में एक डीएमके नेता ने चुनौती दी थी। जिसके बाद अदालत ने केंद्र सरकार को नोटिस जारी करते हुए जवाब तलब किया था।

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