बुधवार को सरकार की तरफ से जारी किए गए जीडीपी ग्रोथ में पहले के मुकाबले 0.8% की गिरावट आई है। देश के जीडीपी यानि सकल घरेलू उत्पाद की रफ्तार में पिछले वर्ष के मुकाबले गिरावट आई है। पिछले वर्ष में जीडीपी की रफ्तार 7.1 फीसदी रही जबकि पिछले वित्त वर्ष की ही चौथी तिमाही में यह 6.1 फीसदी था। देश के बड़े आर्थिक विशेषज्ञों का मानना है कि चौथी तिमाई में ग्रोथ का आंकड़ा इतना ज्यादा घटने के पीछे नोटबंदी एक बड़ा कारण रहा। हालांकि उस वक्त देश के वित्त मंत्री अरूण जेटली ने कहा था कि कुछ महीनों में जीडीपी की ग्रोथ रेट में सुधार होगा। बुधवार को जारी किए गए बीते वर्ष के जीडीपी ग्रोथ दर को देखकर लगता है कि चौथी तिमाही के मुकाबले हालात में सुधार तो आया है लेकिन 2015-16 की तुलना में इसमें 0.8 फीसदी की गिरावट आई है क्योंकि बीते साल यह आंकड़ा 7.9 फीसदी था।

जनवरी-मार्च तिमाही में आई भारी गिरावट

जनवरी-मार्च तिमाही में जीडीपी दर के गिरने के साथ ही भारत का सबसे तेजी से उभरती अर्थव्यवस्था का तमगा भी छिन गया है। इसी तिमाही के दौरान चीन की इकॉनमिक ग्रोथ 6.9 फीसदी रही है। 8 कोर सेक्टर्स की ग्रोथ भी अप्रैल महीने में बीते साल की तुलना में 8.7 फीसदी के मुकाबले 2.5 फीसदी पर आकर ठहर गई है।

8 कोर सेक्टर्स की ग्रोथ में गिरावट

जीडीपी के साथ-साथ देश के 8 कोर सेक्टर्स की ग्रोथ में बड़ी गिरावट देखने को मिली है। पिछले साल अप्रैल में 8 कोर सेक्टरों में – कोयला, क्रूड ऑइल, प्राकृतिक गैस, रिफाइनरी प्रॉडक्ट्स, फर्टिलाइजर, स्टील, सीमेंट और बिजली, की ग्रोथ रेट 8.7 फीसदी थी जो इस साल सिमट कर महज 2.5 फीसदी तक आ गई है। सबसे तेज गिरावट कंस्ट्रक्शन सेक्टर की ग्रोथ में देखने को मिली है।

वित्त वर्ष 2017 में कृषि सेक्टर की ग्रोथ 0.7 फीसदी से बढ़कर 4.9 फीसदी रही है। सालाना आधार पर वित्त वर्ष 2017 में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर की ग्रोथ 10.8 फीसदी से घटकर 7.9 फीसदी रही है। वित्त वर्ष 2017 में माइनिंग सेक्टर की ग्रोथ 10.5 फीसदी से घटकर 1.8 फीसदी रही है।

अमेरिका की रेटिंग एजेंसी का अनुमान 8% तक जाएगी ग्रोथ

अमेरिकी रेटिंग एजेंसी मूडीज इन्वेस्टर्स सर्विस ने अपने ग्लोबल मैक्रो आउटलुक में कहा, “हम भारत में तेजी से वृद्धि की उम्मीद कर रहे हैं। हमारे अनुमान के मुताबिक भारत की अर्थव्यवस्था इस वित्त वर्ष (2017-18) 7.5 फीसदी की ग्रोथ रेट से बढ़ सकता है, जबकि वित्त वर्ष 2018-19 में भारत 7.7 फीसद की ग्रोथ रेट से बढ़ने वाला देश होगा। कुल मिलाकर हमारा यह मानना है कि भारत की अर्थव्यवस्था लगातार तेजी के साथ बढ़ेगी और अगले तीन से चार सालों में यह 8 फीसद की ग्रोथ के स्तर तक पहुंच जाएगी।”

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